बीकानेर, 17 मई। जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल ने मंगलवार को गंगाशहर-सुजानदेसर की विभिन्न गलियों में पहुंचकर सीवर कनेक्शन कार्य का जायजा लिया। उन्होंने आमजन से अब तक हुए कार्य का फीडबैक लेते हुए प्रगतिरत कनेक्शन कार्य का निरीक्षण किया और गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखने के निर्देश दिए।
जिला कलक्टर ने गंगाशहर पेट्रोल पम्प के आसपास के क्षेत्रों में किए गए सीवर कनेक्शन देखे। चांदमल बाग क्षेत्र में प्रगतिरत कार्यों का अवलोकन किया। कनेक्शन में उपयोग की जा रही सामग्री की गुणवत्ता देखी और हिदायत दी कि क्वालिटी से किसी स्तर पर समझौता नहीं किया जाए। यहां सीवर कनेक्शन के पश्चात् कुछ लोगों द्वारा नालियां बंद किए जाने को उन्होंने गंभीरता से लिया तथा ऐसा करने वालों को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि नालियां बंद कर देने से बरसात की स्थिति में पानी की निकासी नहीं होगी। इससे सड़क को नुकसान की संभावना भी रहेगी तथा जल भराव होगा। उन्होंने कहा कि बंद नालियां अविलम्ब खुलवाई जाएं तथा भविष्य में किसी स्थिति में ऐसा नहीं हो, यह सुनिश्चित किया जाए।
जल भराव की समस्या का लिया जायजा
जिला कलक्टर ने सुजानदेसर के ब्राह्मणों के मोहल्ले में जल भराव की समस्या का जायजा लिया। आरयूआइडीपी के अधिशाषी अभियंता अनुराग शर्मा ने बताया कि यहां घरों और फैक्ट्रियों से आने वाले पानी के अलावा बरसाती पानी जमा होता है। घरों के पानी का यहां भराव नहीं हो, इसके लिए सीवर कनेक्शन किए जा रहे हैं। फैक्ट्रियों के अपशिष्ट पानी की समस्या के लिए सीएटीपी तथा बरसाती पानी की निकासी के लिए पंपिंग स्टेशन बनाया जाना प्रस्तावित है। इसके प्रस्ताव राज्य सरकार को भिजवाए जा चुके हैं।
सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट की जानी प्रक्रिया
जिला कलक्टर ने सुजानेदसर में आरयूआइडीपी के सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) का अवलोकन किया। उन्होंने अपशिष्ट पानी की आवक, शोधन, शोधित जल की गुणवत्ता एवं उपयोग के बारे में जाना। प्रयोगशाला और स्काडा प्रणाली की जानकारी ली। उन्होंने बताया कि गंगाशहर, भीनासर, सुजानेदसर, किसमीदेसर, चौधरी कॉलोनी, श्रीरामसर, शीतला गेट, लुहार कॉलोनी आदि क्षेत्रों में 42 हजार 626 सीवर कनेक्शन किए जाने हैं। अब तक इनमें से लगभग 24 हजार कनेक्शन किए जा चुके हैं। जिला कलेक्टर ने शेष कनेक्शन अतिशीघ्र करवाने के निर्देश दिए।
इस दौरान नगर विकास न्यास सचिव नरेन्द्र सिंह पुरोहित, अधीक्षण अभियंता राजीव गुप्ता सहित आरयूआइडीपी और यूआईटी के तकनीकी अधिकारी साथ रहे।